महिला एवं बाल अपराधों पर रोक हेतु करें विशेष प्रयास : जिलाधिकारी।

कानून व्यवस्था एवं अभियोजन शाखा की मासिक समीक्षा बैठक जिलाधिकारी की अध्यक्षता में संपन्न।

थाना समाधान दिवस पर राजस्व अधिकारी रहे उपस्थित, राजस्व से जुड़े मामलों का तत्काल कराए निस्तारण : जिलाधिकारी

जिलाधिकारी प्रवीण मिश्र की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट सभागार में कानून व्यवस्था एवं अभियोजन शाखा की मासिक समीक्षा बैठक संपन्न हुई। अभियोजन शाखा की समीक्षा के दौरान संयुक्त निदेशक अभियोजन ने बताया कि अधीनस्थ न्यायालय में आईपीसी की धाराओं के तहत कुल 118 एवं अन्य अधिनियम में कुल 246 वाद निस्तारित किए गए। जिसमे आईपीसी के तहत 12 एवं अन्य अधिनियम में 217 में सजा हुई। इसी प्रकार सत्र न्यायालय में आईपीसी के कुल 12 मामले निस्तारित हुए। जिसमें 12 मामलों में रिहाई हुई। एससी एसटी एक्ट में एक वाद निस्तारित हुआ जिसमें सजा हुई। पक्सो एक्ट में कुल 16 वाद निस्तारित किए गए। जिसमें तीन में सजा हुई एवं 13 में रिहाई हुई। इस प्रकार अधीनस्थ एवं सत्र न्यायालय में मई माह में कुल 394 बाद निस्तारित किए गए। जिनमें 233 में सजा एवं 25 में रिहाई, 33 में सुलह 31 में सत्र सुपुर्द एवं 72 वादों में दाखिल दफ्तर हुआ। बैठक के दौरान जिलाधिकारी ने संयुक्त निदेशक अभियोजन को कोर्टवार, केसवार निर्णित वादों की सूची अगली समीक्षा बैठक में उपलब्ध कराने के निर्देश दिए,जिससे निर्णित वादों की बेहतर समीक्षा की जा सके। इसके अलावा उन्होंने पुलिस को गवाहों की उपस्थिति सुनिश्चित करने को कहा जिससे गवाहों की अनुपस्थिति से दोषी बच न सके। जिलाधिकारी ने अभियोजन एवं पुलिस बल को महिला एवं बाल अपराधों पर रोकथाम हेतु विशेष प्रयास करने के भी निर्देश दिए साथ ही शासन की मंशा के अनुरूप दोषियों को कड़ी सजा दिलाने हेतु बेहतर समन्वय स्थापित कर प्रयास करने को कहा। कानून व्यवस्था की समीक्षा के दौरान गत माह में अवैध जहरीली शराब, मादक पदार्थ, महिला उत्पीड़न की संख्या में कमी आई। गैंगस्टर एक्ट में की गई कार्यवाहियों की समीक्षा के दौरान जिलाधिकारी ने चिन्हित गैंगस्टर लोगों की संपत्तियों का पता लगाने को कहा, जिससे कुर्क की कार्रवाई की जा सके। उन्होंने जनपद के टॉप टेन अपराधियों के खिलाफ पूर्व की भांति कार्यवाही जारी रखने के भी निर्देश दिए। धारा 67 में पारित आदेशों का मौके पर कम अनुपालन पाए जाने पर जिलाधिकारी ने इसमें विशेष प्रयास कर पारित आदेशों का मौके पर अनुपालन सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। इसी प्रकार धारा 107 एवं 116 में पारित आदेशों के उल्लंघन पर रिकवरी की कार्यवाही भी करने को कहा। धारा 133 एवं 145 में 5 वर्ष से अधिक लंबित लगभग 60% मामलों पर नाराजगी व्यक्त करते हुए जिलाधिकारी ने संबंधित पीठासीन अधिकारियों को 5 वर्ष से अधिक लंबित मुकदमे के निस्तारण प्राथमिकता के आधार पर करने को कहा। इसी प्रकार अवैध टैक्सी स्टैंड एवं अवैध वसूली पर भी कड़ी नजर रखने के निर्देश जिलाधिकारी द्वारा दिए गए। बैठक के दौरान पुलिस अधीक्षक श्री इलमारन जी, अपर जिलाधिकारी श्री सत्यप्रिय सिंह, समस्त उप जिलाधिकारी, समस्त क्षेत्राधिकार, समस्त थाना अध्यक्ष एवं अभियोजन शाखा के समस्त अधिकारी उपस्थित रहे।



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